तमाम उतार-चढ़ावों के साथ साल 2021 बीतने ही वाला है और नया साल 2022 दस्तक देने वाला है। नया साल 2022 अकेला नहीं आ रहा है, यह अपने साथ 3 नियमों में हुए बदलावों को भी ला रहा है। यह नियम एटीएम से पैसा निकालने , बैंक लॉकर और ईपीएफ कॉन्ट्रीब्यूशन से जुड़े हैं। अगर आपका इन तीनों से ही संबंध है, तो आपके लिए यह नियम जानना बहुत जरूरी हो जाता है।
एटीएम निकासी शुल्क
आरबीआई की 10 जून 2021 की अधिसूचना के अनुसार, 1 जनवरी 2022 से बैंकों को मासिक मुफ्त एटीएम निकासी सीमा के बाद प्रत्येक लेनदेन पर 20 रुपये के बजाय 21 रुपये चार्ज करने की अनुमति होगी। यानी, बैंक अपने ग्राहकों से इसके लिए एक जनवरी से 21 रुपये चार्ज किया करेंगे। हालांकि, ग्राहक अपने खुद के बैंक एटीएम से 5 निःशुल्क एटीएम निकासी सीमा और अन्य बैंक एटीएम से 3 निःशुल्क एटीएम निकासी सीमा का लाभ उठाना जारी रखेंगे।
बैंक लॉकर के निमयों में बदलाव
आरबीआई की 18 अगस्त 2021 की अधिसूचना के अनुसार, 1 जनवरी 2022 से, बैंक अपने कर्मचारियों द्वारा चोरी या धोखाधड़ी के कारण लॉकर में रखे सामान के नुकसान के लिए दायित्व से किनारा नहीं कर सकते हैं। भारत के केंद्रीय बैंक ने इस तरह के नुकसान के लिए बैंक की देनदारी को मौजूदा वार्षिक बैंक लॉकर किराए के 100 गुना पर रखा है। आरबीआई ने बैंकों को बैंक लॉकर ग्राहकों को ठीक से चेतावनी देने का भी निर्देश दिया है कि बैंक लॉकर की सामग्री का बीमा करने के लिए जिम्मेदार नहीं है।
ईपीएफ कॉन्ट्रीब्यूशन
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के नए दिशानिर्देशों के अनुसार, कर्मचारी भविष्य निधि खाताधारकों के लिए 31 दिसंबर 2021 तक अपने आधार नंबर और EPF खाते को लिंक करना अनिवार्य है। ऐसा न होने की स्थिति में पीएफ खाते में कंपनी के योगदान को बंद कर दिया जाएगा। भविष्य निधि नियामक ने नियोक्ताओं को सभी ईपीएफ खाताधारकों के यूएएन (सार्वभौमिक खाता संख्या) के साथ आधार को सत्यापित कराने का भी निर्देश दिया।