Kisan Andolan Delhi: किसानों के आंदोलन को देखते हुए इस बार दिल्ली पुलिस ने हरियाणा यूपी से लगते सीमाओं पर पहले की तरह कोई भूल नहीं करना चाहती. प्रदर्शनकारी किसानों की दिल्ली में एंट्री रोकने के लिए बॉर्डर और आंतरिक हिस्सों पर सुरक्षा की तैयारियों को पुख्ता करने के लिए 30 हजार पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं. इस बार सुरक्षा व्यवस्था की कमान खुद दिल्ली पुलिस के कमिश्नर के हाथ में है. यही वजह है कि दिल्ली के बॉर्डर की किलेबंदी का काम जारी है.
चार साल पहले किसान दिल्ली में घुसने के बाद बॉर्डर पर ही बैठ गए थे. इस बार किसानों को हाईवे पर बैठने की इजाजत नहीं दी जाएगी. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने दिल्ली पुलिस आयुक्त संजय अरोड़ा को किसानों को किसी भी सूरत में दिल्ली में नहीं घुसने देने के निर्देश दिए हैं. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक अगर किसान घुस भी गए तो उन्हें छत्रसाल स्टेडियम में प्रदर्शन की इजाजत दी जाएगी. बता दें कि दिल्ली सरकार ने बवाना स्टेडियम को भी अस्थायी जेल बनाने से इनकार कर दिया है. जरूरत पड़ने पर स्टेडियम में प्रदर्शन के लिए एलजी से अनुमति मांगी जाएगी.
फिलहाल, सिंघु बॉर्डर, गाजीपुर, टीकरी बॉर्डर, झरोदा कलां और चिल्ला बॉर्डर, नई दिल्ली सहित अन्य इलाकों की सुरक्षा के लिए 30 हजार से ज्यादा पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं. ताकि किसानों की दिल्ली में एंट्री को रोकना संभव हो सके.
आपको बता दें हरियाणा और पंजाब के किसानों को दिल्ली में एंट्री रोकने के लिए पुलिस की 200 कंपनियां सिंघु, टीकरी व गाजीपुर बॉर्डर पर तैनात किए गए हैं. दिल्ली पुलिस को गृह मंत्रालय ने 82 कंपनियां दी है. इसके अलावा, पुलिस कार्यालय में काम करने वाले पुलिसकर्मियोंं की कई कंपनियों को सुरक्षा में तैनात किया है. लोकल पुलिसकर्मियों की भी ड्यूटी लगाई गई हैं.